"Your vision will become clear only when you can look into your own heart. Who looks outside, dreams; who looks inside, awakes."

॥ अनंत कोटी ब्रम्हांड नायक राजाधिराज योगीराज परं ब्रम्हं श्री सच्चिदानंद सदगुरू श्री साईनाथ महाराज की जय ll

Monday, September 21, 2009

बरस रहें हो



साईं सूरज हैं,
आप सब उनकी सुन्हेरी किरणें.
आज मुझ पर बरस रहें हों !

साईं चाँद हैं,
आप सब उनकी शीतल चाँदनी.
आज मुझ पर बरस रहें हों !

साईं विशाल सागर हैं,
आप सब उनकी झूम्ती लहरें.
आज मुझ पर बरस रहें हों !

साईं वायु हैं,
आप सब उनकी कृपा का झोंका.
आज मुझ पर बरस रहें हों !
 
साईं अंतरीक्ष हैं,
आप सब उनके चमकते सितारे.
आज मुझ पर बरस रहें हो !

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